दोस्तो आपके समक्ष Atm मशीन क्या है और कैसे काम करता है हिंदी में जानकारी बताने जा रहा हूं क्योंकि आज के डिजीटल एडवांस समय मे भी हमलोगो मे से कुछ लोग कंफ्यूज होते है एटीएम मशीन को पैसे छापने वाला मशीन समझते है एवं अनगिनत लोग ऐसे भी है जो एटीएम मशीन का इस्तेमाल करते हुए भी उन्हे एटीएम के बारे मे आधा-अधूरा जानकारी पता है! दोस्तो एटीएम मशीन की बात किया जाए तो यह मशीन गांव शहर सभी जगह उपस्थित है लोग आज के समय मे एटीएम मशीन से पैसे निकालना हो या अपने बैंक अकाउंट मे पैसे जमा करना हो एटीएम मशीन का उपयोग करते है इसलिए जरूरी बन जाता है जिस चीज का इस्तेमाल किया जाए उस चीज के विषय मे अच्छे से जानकारी भी होना चाहिए! चलिए अब सिधे मुद्दे पर बात करते है और विस्तार से एटीएम के बारे में जानकारी आपके समक्ष बताने की कोशिश करते है!



ATM मशीन क्या है कैसे काम करता है हिंदी में जानकारी
एटीएम मशीन की पुरी जानकारी



ये भी जानिए- एटीएम रूम में AC क्यों होता है?

ये भी जानिए- एटीएम मशीन में कितना पैसा होता है?



एटीएम फुल फॉर्म


Atm का फुल फाॅर्म Automated Teller Machine होता है जिसे हिंदी में "स्वचालित गणक मशीन" बोला जाता है एवं भारतीय भाषा में एटीएम का फुल फॉर्म Any Time Money बोला जाता है जिसका हिंदी मीनिंग "हर वक्त पैसा" होता है!



एटीएम क्या है?


एटीएम मशीन एक कंप्यूटरीकृत इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है इस मशीन का इस्तेमाल केवल बैंक के कस्टमर ही कर सकते है! एटीएम मशीन का उपयोग कैस निकासी, कैस और चेक डिपॉजिट, अकाउंट बैलेंस, मिनी स्टेटमेंट के साथ-साथ मनी ट्रांसफर एवं अन्य प्रकार के कार्य हेतू जैसे कि आधार नंबर, मोबाइल नंबर जोड़ने और चेंज करने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है!



एटीएम मशीन काम कैसे करता है?


शायद आप समझ गए होंगे एटीएम मशीन एक कंप्यूटरीकृत इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है यह मशीन कैसे काम करता है इसपर बात किया जाए तो यह सेटेलाइट के जरिए बैंक सर्वर से कनेक्टेड रहती है जिन लोगो के पास डेबिट कार्ड या क्रेडिट कार्ड होता है केवल वही लोग इस मशीन का इस्तेमाल कर सकता है यानि की एटीएम कार्ड को मशीन मे स्वैप या डालने और पिन इंटर करने के क्रम मे कार्ड पर उपस्थित मैग्नेटिक पट्टी मे बैंक डिटेल छुपा होता है एटीएम मशीन कार्ड को रीड करता है सेटेलाइट के जरिए बैंक सर्वर मे इन्फोर्मेशन भेजता है ये कार्ड यूजर सही है या नही और जब बैंक की ओर से सिग्नल मिल जाता है तभी ट्रांजेक्शन या अन्य काम पुरा हो पाता है!



ATM मशीन कितने प्रकार के होते है?


एटीएम के प्रकार कि बात किया जाए तो छोटी सी स्वैप मशीन (Pos Machine) या अन्य प्रकार के ऐसा डिवाइस जिससे ट्रांजेक्शन प्रक्रिया संभव है सभी एटीएम मशीन के श्रेणी मे ही आता है लेकिन भारतीय बैंको द्वारा कितने तरह के एटीएम मशीन लगवाये जाते है चलिए उसपर नजर डालते है!



बैंक का अपना एटीएम- यह एटीएम मशीन बैंक द्वारा खरीदे और संचालित किए जाते हैं इस एटीएम पर बैंक का लोगो (चिन्ह) लगा होता है। बैंको द्वारा दी जाने वाली इस तरह से एटीएम सेवा प्रदान करने का सबसे महंगा तरीका होता है!



ब्राउन लेबल एटीएम- इस एटीएम पर बैंक का लोगो (चिन्ह) लगा होता है लेकिन यह एटीएम किसी अन्य कंपनी के द्वारा लगाये जाते हैं बैंक केवल नकद मुद्रा और सर्वर कनेक्टिविटी का काम संभालता है!



व्हाइट लेबल एटीएम- यह एटीएम मशीन किसी अन्य कंपनी द्वारा खरीदे और संचालित किए जाते हैं एवं सभी बैंको के ग्राहको को सेवा प्रदान कराता है इस एटीएम मशीन पर बैंक के बजाए कंपनी का लोगो (चिन्ह) लगा होता है।



नोट- इसके अलावा कुछ विशेष एटीएम भी होते हैं जैसे कि ऑरेंज लेबल एटीएम शेयर से संबंधित लेनदेन, ग्रीन लेबल एटीएम कृषि से संबंधित लेनदेन, एल्लो लेबल एटीएम ई-कॉमर्स से संबंधित लेन-देन, पिंक लेबल एटीएम खासकर महिलाओ के लिए होता है भीड़भाड़ ना हो आराम से लेन-देन करने हेतू होता है एवं डिवाइस के जरिए अंगूठा लगाकर पैसे ट्रांजेक्शन बायोमेट्रिक एटीएम तथा जिस स्वैप मशीन (Pos Machine) मे कार्ड स्वैप द्वारा ट्रांजेक्शन किया जाता है वह माइक्रो एटीएम कहलाता है!


जगह के आधार पर एटीएम मशीन के प्रकार


ऑन साईड एटीएम- आपने देखा होगा कुछ एटीएम मशीन बैंक ब्रांच के अंदर ही मौजूद होते है इस एटीएम के लिए बैंक को ज्यादा खर्च उठाना नही परता बैंक ब्रांच के अंदर मौजूद एटीएम को ऑन साइड एटीएम कहा जाता है।


ऑफ साईड एटीएम- जो एटीएम बैंक ब्रांच से दूर लगाया जाता है वह ऑफ साईड एटीएम कहलाता है इस प्रकार के एटीएम लगवाने और संचालन करने मे बैंक को कुछ ज्यादा ही खर्च उठाना परता है!



एटीएम के फायदे


एक समय था पैसे निकालने जमा करने या अन्य किसी भी प्रकार के कार्य हेतु बैंक के लाईन मे घंटो खड़ा रहना परता था लेकिन अब वही काम करने के लिए कभी भी कही से एटीएम मशीन के इस्तेमाल करके सभी कार्य मिनटो में किया जा सकता है! बैंक खुला है या बंद है कोई फर्क नही परता केवल आपके पास कार्ड मौजूद होना चाहिए एटीएम मशीन मे इस्तेमाल करने के उपरांत अपने बैंक अकाउंट को एक्सेस किया जा सकता है!



एटीएम का आविष्कार कब हुआ था?


दुनिया की प्रथम एटीएम का उद्घघाटन 27 जून 1967 को इंग्लैंड के उत्तरी लंदन के एनफील्ड में बार्कलेज़ बैंक की एक ब्रांच में किया गया था और सबसे प्रथम एटीएम मशीन का इस्तेमाल कॉमेडी अभिनेता रेग वर्नी ने कॉमेडी करते हुए मज़ाकिया अंदाज मे एटीएम मशीन से पैसे निकाला था।



एटीएम का आविष्कार किसने किया था?


एटीएम के खोजकर्ता एक ब्रिटिश नागरिक जॉन शेफर्ड बैरोन और उनकी टीम द्वारा बनाई गई थी! हालांकि जॉन शेफर्ड-बैरोन का जन्म 23 जून 1925 को भारत में मेघालय के शिलांग में हुआ था इनके पिता का नाम विलफ्रीड तत्कालीन चिटगांव के चीफ इंजीनियर थे!



भारत में एटीएम सबसे प्रथम कब और कहां लगाया गया था?


भारत में मुंबई के एचएसबीसी बैंक ने सबसे प्रथम 1987 मे एटीएम मशीन मुंबई मे लगाया था और आज के टाईम मे भिन्न-भिन्न बैंको द्वारा गांव शहर हरेक जगह एटीएम लगा दिये गए है और अब लोग बैंक जाने के बजाय एटीएम से कैस निकाली से लेकर अपने अकाउंट से संबंधित अन्य प्रकार के कार्य एटीएम के माध्यम से कर रहे है!

Post a Comment